पाकिस्तान में आतंकी ठिकानों पर भारत की एयर स्ट्राइक: सेना और वायुसेना ने ऑपरेशन सिंदूर की दी जानकारी, 9 ठिकाने तबाह
नई दिल्ली। बुधवार सुबह 10:30 बजे भारत सरकार, सेना और वायुसेना के वरिष्ठ अधिकारियों ने पाकिस्तान में आतंकी ठिकानों पर की गई एयर स्ट्राइक को लेकर संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस की। देश के इतिहास में पहली बार सेना की कर्नल सोफिया कुरैशी और वायुसेना की विंग कमांडर व्योमिका सिंह ने ऑपरेशन से जुड़ी विस्तृत जानकारी साझा की। इस दौरान विदेश सचिव विक्रम मिस्री भी मौजूद रहे।
प्रेस वार्ता की शुरुआत दो मिनट के एक वीडियो से हुई जिसमें भारतीय सेना द्वारा आतंकी ठिकानों पर की गई कार्रवाई के दृश्यों को दिखाया गया। इसके बाद सेना ने “ऑपरेशन सिंदूर” की तस्वीरें मीडिया को दिखाईं।
पहलगाम हमले का बदला, पाकिस्तान में 9 ठिकानों को बनाया गया निशाना
विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने बताया कि 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में निर्दोष पर्यटकों पर जो कायराना हमला हुआ था, वह भारत की एकता, शांति और प्रगति को चोट पहुंचाने की कोशिश थी। इस हमले में 25 भारतीय और एक नेपाली नागरिक की निर्मम हत्या कर दी गई थी। हमलावरों ने परिवारों के सामने गोली मारकर लोगों की जान ली और बचे लोगों से कहा गया कि इस घटना का संदेश पूरे देश को दें।
उन्होंने कहा कि इस हमले के पीछे TRF (The Resistance Front) नामक आतंकी संगठन था, जो लश्कर-ए-तैयबा से जुड़ा हुआ है और जिसे संयुक्त राष्ट्र पहले ही प्रतिबंधित कर चुका है। TRF को पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठनों का कवच बताया गया, जो लश्कर जैसे बड़े संगठनों के इशारे पर काम करता है।
ऑपरेशन सिंदूर की रणनीति: 1:05 से 1:30 बजे तक चला एयर स्ट्राइक
सेना की कर्नल सोफिया कुरैशी और विंग कमांडर व्योमिका सिंह ने बताया कि ऑपरेशन रात 1:05 से 1:30 बजे तक चला। इस दौरान पाकिस्तान और पीओके में स्थित 9 प्रमुख आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया गया। इनमें लॉन्चपैड, ट्रेनिंग सेंटर्स, और हथियार भंडारण स्थल शामिल थे।
कर्नल कुरैशी ने बताया कि टारगेट चुनने से पहले विश्वसनीय खुफिया सूचनाओं और इंटेलिजेंस इनपुट्स को ध्यान में रखा गया और यह सुनिश्चित किया गया कि किसी भी निर्दोष नागरिक या नागरिक इन्फ्रास्ट्रक्चर को नुकसान न पहुंचे।
7 शहरों में तबाही: जैश, लश्कर और हिजबुल के अड्डे नष्ट
PTI की रिपोर्ट के अनुसार, भारत की एयर स्ट्राइक में मुजफ्फराबाद, बहावलपुर, मुरीदके, सियालकोट, कोटली, भिंबर और भावलपुर सहित 7 शहरों में फैले 9 आतंकी ठिकानों को ध्वस्त किया गया। इनमें जैश-ए-मोहम्मद के 4, लश्कर-ए-तैयबा के 3 और हिजबुल मुजाहिदीन के 2 प्रमुख अड्डे शामिल हैं।
प्रमुख ठिकानों में शामिल हैं:
- सवाई नाला, मुजफ्फराबाद: लश्कर का ट्रेनिंग सेंटर
- सैयदना बिलाल कैंप, मुजफ्फराबाद: हथियार और विस्फोटक प्रशिक्षण
- कोटली गुरपुर कैंप: पुंछ हमले के आतंकियों का ट्रेनिंग स्थल
- सरजल कैंप, सियालकोट: पुलिस पर हमले के आतंकियों की ट्रेनिंग साइट
- महमूना जाया कैंप, सियालकोट: हिजबुल का बड़ा अड्डा
- मरकज तैयबा, मुरीदके: कसाब और हेडली को यहीं ट्रेनिंग मिली
- मरकज सुभानअल्लाह, भावलपुर: जैश-ए-मोहम्मद का मुख्यालय
“पाकिस्तान आतंकवादियों की शरणस्थली बन चुका है”
विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने कहा कि पहलगाम हमला पाकिस्तान के सीमापार आतंकवाद की योजना का हिस्सा था। TRF के दावे और लश्कर से जुड़ी सोशल मीडिया पोस्ट इस बात का पुख्ता सबूत हैं कि पाकिस्तान लगातार आतंकियों को पनाह दे रहा है। उन्होंने कहा, “हमने अपने आत्मरक्षा के अधिकार का प्रयोग करते हुए यह कार्रवाई की है। यह एक संतुलित, लक्ष्य केंद्रित और जिम्मेदार कदम था।”
पिछले 10 वर्षों में 600 जवान शहीद, 350 नागरिक मारे गए
सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, पिछले एक दशक में पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद के चलते 350 से अधिक नागरिकों की हत्या और 800 से ज्यादा लोगों के घायल होने की घटनाएं सामने आई हैं। साथ ही 600 से अधिक जवान देश की रक्षा करते हुए शहीद हुए हैं, और 1,400 से ज्यादा सैनिक घायल हुए हैं।
ऑपरेशन की प्रमुख बातें:
- पीओके और पाकिस्तान में 9 टारगेट तबाह
- नागरिक क्षेत्र को नुकसान पहुंचाए बिना ऑपरेशन को अंजाम दिया गया
- लश्कर, जैश और हिजबुल जैसे संगठनों के अड्डे ध्वस्त
- ऑपरेशन सिंदूर के तहत सीमापार आतंकी ढांचे को कमजोर करने की कोशिश
- 22 अप्रैल के पहलगाम हमले का करारा जवाब