- राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की 10वीं और 12वीं कक्षा की परीक्षाओं में नकल के मामले दर्ज हुए।
- जोधपुर जिले के दो छात्रों को परीक्षा में अनुचित साधनों का उपयोग करते पकड़ा गया।
- एक छात्र पासबुक के पन्नों से नकल करता पाया गया।
- RBSE की अनफेयर मींस कमेटी इन मामलों की गहराई से जांच करेगी।

राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (RBSE) की 10वीं और 12वीं कक्षा की परीक्षाओं में नकल के मामले सामने आए हैं, जिसमें छात्रों को अनुचित साधनों का उपयोग करते हुए पकड़ा गया है। यह घटनाएं जोधपुर जिले से दर्ज की गईं, जहां 12वीं के लोक प्रशासन विषय और 10वीं के हिंदी विषय की परीक्षा के दौरान नकल के प्रयास किए गए।
पासबुक के पन्नों से नकल करते पकड़े गए छात्र
जोधपुर जिले के एक परीक्षा केंद्र में 10वीं कक्षा के एक छात्र को पासबुक के पन्नों का उपयोग करते हुए नकल करते हुए पकड़ा गया। इसी जिले में एक और छात्र को अनुचित साधनों के उपयोग में लिप्त पाया गया। इन मामलों को माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की अनफेयर मींस कमेटी को भेजा गया है, जो गहन जांच के बाद निर्णय लेगी कि छात्रों को क्लीन चिट दी जाए या उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाए।
संपूर्ण परीक्षा को निरस्त करने की संभावना
माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के सचिव कैलाश शर्मा ने कहा कि नकल की पुष्टि होने पर संबंधित विषय की परीक्षा या संपूर्ण परीक्षा को निरस्त किया जा सकता है। हालांकि, यह सुनिश्चित किया जाएगा कि छात्रों को पूरी तरह से परीक्षा से वंचित न किया जाए। नकल के मामलों में दोषी पाए जाने वाले छात्रों के परिणाम अस्थायी रूप से रोक दिए जाएंगे।
परीक्षा प्रणाली की शुचिता बनाए रखने पर जोर
RBSE का यह कदम परीक्षा प्रणाली की निष्पक्षता और शुचिता सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है। अनफेयर मींस कमेटी गहराई से मामलों की जांच करेगी और निष्पक्ष निर्णय लेगी। इस प्रक्रिया का उद्देश्य परीक्षा प्रणाली की विश्वसनीयता को बनाए रखना है और भविष्य में ऐसे मामलों को रोकना है।
माध्यमिक शिक्षा बोर्ड ने छात्रों और अभिभावकों से अपील की है कि वे परीक्षा में अनुचित साधनों का उपयोग करने से बचें और परीक्षा के प्रति ईमानदारी और सम्मान का भाव रखें। यह न केवल शिक्षा प्रणाली को मजबूत बनाएगा, बल्कि छात्रों के व्यक्तिगत विकास में भी सहायक होगा।